नई दिल्ली: अफगानिस्तान के विदेश मंत्री अमीर खान मुत्ताकी ने दिल्ली की सरजमीं से पाकिस्तान को सख्त चेतावनी दी है। साथ ही उन्होंने अमेरिका सहित NATO देशों को भी कड़ा संदेश दिया है। उन्होंने कहा कि अफगानिस्तान की हिम्मत को परखने की गलती कोई न करे। साथ ही, भारत के साथ बेहतर रिश्तों की वकालत करते हुए उन्होंने सभी देशों से सकारात्मक तालमेल की उम्मीद जताई। इस बीच, भारत ने अफगानिस्तान के साथ अपनी दोस्ती को और मजबूत करते हुए 5 एंबुलेंस गिफ्ट कीं। भारत ऐसी 20 एंबुलेंस अफगानिस्तान को देने वाला है।
मुत्ताकी ने पाकिस्तान को दी कड़ी चेतावनी
मुत्ताकी ने दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘अफगानिस्तान इस्लामी उसूलों के आधार पर सभी देशों के साथ अच्छे रिश्ते चाहता है। भारत के पास इस सकारात्मक रास्ते पर आगे बढ़ने का सुनहरा मौका है। हम उम्मीद करते हैं कि एक संतुलित नीति दूसरों को भी प्रेरित करेगी।’ उन्होंने हाल ही में सीमा पर हुए हमले का जिक्र करते हुए पाकिस्तान को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा, ‘सीमा के दूर-दराज इलाकों में हमला हुआ है। हम पाकिस्तान के इस कदम को गलत मानते हैं। मसले इस तरह हल नहीं हो सकते। हमने बातचीत का दरवाजा खुला रखा है। पाकिस्तान को अपने मसले खुद हल करने चाहिए।’
मुत्ताकी ने अमेरिका को भी दिया सख्त संदेश
मुत्ताकी ने जोर देकर कहा, ‘अफगानिस्तान 40 साल बाद अमन और तरक्की की राह पर है। किसी को इससे परेशानी नहीं होनी चाहिए। हम एक आजाद मुल्क हैं। हम चाहते हैं कि दुनिया हमारी आजादी और अमन की राह का सम्मान करे। अफगानों की हिम्मत को आजमाने की गलती न करें। जो ऐसा करना चाहते हैं, वे सोवियत यूनियन, अमेरिका और NATO से पूछ लें। वे बता सकते हैं कि अफगानिस्तान के साथ खेलना ठीक नहीं।’ उन्होंने साफ किया कि अफगानिस्तान किसी भी सैन्य हस्तक्षेप या बाहरी ताकतों की मौजूदगी को बर्दाश्त नहीं करेगा। बता दें कि ऐसी खबरें आई थीं कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अफगानिस्तान में फिर से बगराम एयरबेस चाहते हैं।
चाबहार पोर्ट पर मुत्ताकी का बड़ा बयान
मुत्ताकी ने चाबहार पोर्ट को भारत और अफगानिस्तान के बीच व्यापार के लिए अहम रास्ता बताते हुए इसे खोलने की वकालत की। उन्होंने कहा कि अमेरिका द्वारा लगाई गई पाबंदियों को हटाने के लिए भारत और अफगानिस्तान को मिलकर बातचीत करनी चाहिए। उन्होंने कहा, ‘चाबहार पोर्ट एक अच्छा रास्ता है। भारत और अफगानिस्तान को मिलकर रुकावटें दूर करने की कोशिश करनी चाहिए, क्योंकि अमेरिका ने कुछ पाबंदियां लगाई हैं। भारत और अफगानिस्तान को अमेरिका के साथ मिलकर बात करनी चाहिए। इस रास्ते का इस्तेमाल दोनों देशों की जरूरत है। सभी व्यापारिक रास्ते खुले होने चाहिए। अगर रास्ता बंद होता है, तो यह भारत और अफगानिस्तान के बीच व्यापार को नुकसान पहुंचाता है।’
भारत ने अफगानिस्तान को गिफ्ट कीं 5 एंबुलेंस
इस मौके पर भारत ने अफगानिस्तान के प्रति एक बार फिर अपना दोस्ताना रवैया दिखाया। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मुत्ताकी को 5 एंबुलेंस सौंपीं, जो 20 एंबुलेंस के तोहफे का हिस्सा हैं। जयशंकर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर लिखा, ‘आज विदेश मंत्री मुत्ताकी को 5 एंबुलेंस सौंपीं। यह 20 एंबुलेंस और अन्य मेडिकल उपकरणों के तोहफे का हिस्सा है, जो अफगान जनता के लिए भारत के लंबे समय से चले आ रहे समर्थन को दर्शाता है।’
(एजेंसियां)