मेरठ : सेना में नौकरी के नाम पर बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है. यहां टेरिटोरियल आर्मी में तैनात एक जवान ने अपने साथी के साथ मिलकर दो भाइयों को आर्मी में नौकरी दिलाकर लाखों ठग लिए. इतना ही नहीं किसी को पता न चले इसके लिए ठगों ने दोनों भाईयों को हर महीने 12 हजार रुपये भी खाते में डालते रहे. जब गिरोह का भंडाफोड़ हुआ तो मेरठ पुलिस के भी होश उड़ गए. पुलिस ने दोनों आरोपितों को गिरफ्तार कर मामले की जांच शुरू कर दी है.
यह है पूरा मामला
दरअसल, गाजियाबाद जिले के रहने वाले मनोज की जान पहचान मुजफ्फरनगर के रहने वाले राहुल हो गई. राहुल टेरिटोरियल आर्मी में सिपाही है. राहुल ने अपने दोस्त बिट्टू निवासी दौराला के साथ मिलकर मनोज को भरोसा दिलाया कि वह सेना में उसकी नौकरी लगवा सकता है. राहुल ने मनोज को बताया कि बिट्टू सेना में कर्नल है. इसके बाद राहुल ने मनोज और उसके भाई को सेना में भर्ती कराने का विश्वास दिलाया.
दोनों भाईयों से 16 लाख रुपये ठग लिए
इसके बाद दोनों ठग राहुल और बिट्टू ने सेना में नौकरी के नाम पर दोनों भाईयों से करीब 16 लाख रुपये ले लिए. पैसे लेने के बाद दोनों भाई नौकरी के लिए दबाव बनाने लगे. इसके बाद राहुल ने मनोज को बाजार से वर्दी खरीद कर दे दी. इतना ही नहीं सेना की एक फर्जी आईडी भी बनवा दी और बतौर ऑफिस में फॉलोअर के रूप में तैनाती करा दी.
वीडियो कॉल पर कर्नल बन करता था बातचीत
मनोज को शक न हो इसके लिए समय-समय पर बिट्टू कर्नल की वर्दी पहनकर वीडियो कॉल भी करता रहा. इस बीच मनोज के खाते में हर महीन 12 हजार रुपये भी डालता रहा. जब मनोज ने कर्नल से मिलकर किसी और सेक्शन में डालने की जिद करने लगा तो राहुल बहाने करने लगा. राहुल ने कर्नल को विदेश जाने की बात कहकर मिलने से टालता रहा. इस पर मनोज को शक होने लगा. इसके बाद मनोज ने पुलिस से शिकायत की.
एक आरोपित फरार
मनोज की शिकायत पर मेरठ पुलिस ने आर्मी की दिल्ली यूनिट से संपर्क साधा. इसके बाद आर्मी की दिल्ली यूनिट ने पूरे मामला का भंडाफोड़ किया. पुलिस ने दोनों आरोपितो राहुल और बिट्टू को गिरफ्तार कर लिया है. साथ ही दोनों के खिलाफ जांच भी शुरू कर दी. एसपी सिटी मेरठ पीयूष सिंह ने कहा कि राहुल ने खुद को सेना में सिपाही बता कर 16 लाख रुपये ठग लिए. इसमें तीन लोग संलिप्प पाए गए. राहुल और बिट्टू को गिरफ्तार कर लिया गया है, वहीं राजा नाम का एक शख्स फरार है. उसकी तलाश की जा रही है.